{Editor’s Note: Youth Ki Awaaz ने आज सुबह राजपार्क पुलिस स्टेशन के इंवेस्टिगेटिंग ऑफिसर आज़ाद सिंह से इस विषय पर बात की। उन्होंने मामले की पुष्टि करते हुए कहा कि राजीव द्वारा शिकायत दर्ज की गई है लेकिन जब तक वह बाबा मनमोहन के खिलाफ कोई ठोस प्रमाण नहीं पेश करेंगे, तब तक जांच को सही दिशा नहीं मिल सकती है। राजीव को पुलिश स्टेशन आकर बाबा के खिलाफ उन्हें धमकी देने के प्रमाण पेश करने होंगे।}
यौन शोषण के आरोपी बाबा मनमोहन के 5-6 अज्ञात समर्थकों द्वारा दिल्ली में 5 फरवरी की शाम 7:20 बजे मुझे धमकी दी गई। मुझे कहा गया कि आप इस मामले से पीछे हट जाइए और लड़की के परिवार वालों और लड़की पर दबाव बनाइए कि वे केस वापस लें।
मुझसे कहा गया, “यदि आपने ऐस नहीं किया तब लड़की के परिवार वालों के साथ-साथ आपका भी बुरा हाल हो जाएगा। आप हमारी बात मान लीजिए क्योंकि कल से हम आपकी तलाश कर रहे थे लेकिन आप आज मिले।”
मैंने इस पर जवाब देते हुए कहा कि आप लोग क्यों परेशान हो रहे हैं? बाबा ने रेप किया है और सर्वाइवर्स ने न्याय मिलने की उम्मीद से मामले को प्रशासन के संज्ञान में दिया है। बाबा की गिरफ्तारी से आप लोगों को दिक्कत क्यों हो रही है?
इस बात पर बाबा समर्थकों ने मुझसे कहा, “ज़्यादा पत्रकारिता मत करो नहीं तो अपना जीता मुंह नहीं देख पाओगे।” मैंने तुरंत उन लोगों को कहा कि मैं पुलिस को फोन कर रहा हूं और आप लोग यहीं पर ठहरो। मेरी बातें सुनकर बाबा के गुंडे वहां से भाग गए। खैर, हमने नज़दीकी थाने में मामले की शिकायत दर्ज़ कर दी जिसके बाद हमें यह रसीद संख्या ‘DD no. 23B date 31/01/2019’ दी गई।
वीडियो वायरल करने की धमकी
गौरतलब है कि बिहार की मूल निवासी तथा लुधियाना पंजाब में निवास करने वाली दो साध्वी बहनों के साथ बाबा मनमोहन ने पहले रेप किया फिर वीडियो वायरल करने की धमकी दे डाली।
इस बीच बाबा लगातार उन बहनों को यह कहकर धमकी देते रहे कि यदि यह बातें किसी को बताई तब माता-पिता और भाई की हत्या कर दी जाएगी। बाबा ने छोटी बहन के साथ 8 साल तक तथा बड़ी बहन के साथ 2 साल तक यौन शोषण किया।
पीएमओ तक पहुंचा मामला
मैं सत्संग का कवरेज करने के लिए नवंबर 2018 में लुधियाना (पंजाब) गया हुआ था जहां यह दोनों साध्वि बहने मिलीं। मैंने उन दोनों को अपनी आईडी कार्ड दिखाते हुए अपना परिचय दिया। इन दोनों बहनों ने करीब 25 दिन बाद मुझसे फोन पर संपर्क किया तथा अपनी आपबीती बताई।
मैंने दोनों बहनों को गाइड करते हुए कहा कि आपके साथ जो भी अत्याचार हुआ है उन्हें कागज़ पर लिखकर प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति, राष्ट्रीय महिला आयोग तथा बिहार के मुख्यमंत्री को भेजते हुए एक-एक कॉपी मुझे भी दीजिए। मेरे द्वारा यह बातें कहने पर दोनों साध्वि बहनों ने ऐसा ही किया।
कुछ दिनों बाद मैंने उन चिट्ठियों को ट्रैक करते हुए संबंधित अधिकारियों से उचित कार्रवाई की बात की। हमने इस मामले में दिल्ली महिला आयोग का भी सहयोग लिया और दिल्ली महिला आयोग की हेल्पलाइन की टीम ने फोन पर दोनों साध्वि बहनों की काउंसलिंग करते हुए उन्हें पुलिस स्टेशन में मुकदमा दर्ज़ करने के लिए कहा।
इस पर बड़ी बहन हेमा (बदला हुआ नाम) बिहार में जाकर बाबा के खिलाफ मुकदमा करने पर तैयार हुईं। ममता 25 जनवरी को लुधियाना से चलकर दिल्ली आईं तब हमने दिल्ली महिला आयोग और बिहार महिला हेल्पलाइन को सूचित करते हुए दिल्ली से उन्हें बिहार भेज दिया।
ऐसे हुए बाबा गिरफ्तार
वहां के स्थानीय साथियों ने उनकी मदद की। वह 28 जनवरी की सुबह सुपौल पुलिस अधीक्षक के पास पहुंच कर एफआईआर दर्ज़ करवाई जिसके आधार पर बाबा मनमोहन को पुलिस ने फुलपरास मधुबनी स्थित उसके आश्रम से गिरफ्तार कर लिया।
गिरफ्तारी के बाद बाबा के गुंडे समर्थक लोग बौखला गए हैं क्योंकि उन्हें जानकारी मिल चुकी है कि ढोंगी बाबा मनमोहन का पर्दाफाश करने के पीछे मैं ही हूं। मुझे अंदाज़ा है कि वह कभी भी मेरी हत्या करवा सकता है।
अत: साथियों, मैं आप सभी को सूचित करता हूं कि भविष्य में यदि मेरी हत्या होती है अथवा मुझ पर जानलेवा हमला या कोई अप्रिय घटना घटित होने पर उसकी ज़िम्मेदारी बाबा मनमोहन की होगी।
आपका साथी
राजीव कुमार
स्वतंत्र पत्रकार तथा सामाजिक कार्यकर्ता, नई दिल्ली